सोमवार को चुनाव आयोग ने महत्वपूर्ण बैठक में कई अहम फैसले लिए। देश में बढ़ते कोरोना मामलों को देखते हुए इस बार चुनाव आयोग ने पाबंदियों में हालांकि कुछ ढील जरूर दी लेकिन इस बार भी चुनावी रैलियों की इजाजत नहीं मिली है। आयोग ने स्पष्ट कहा कि सुरक्षित चुनाव कराना आयोग की प्राथमिकता है लिहाजा देश में कोरोना की स्थिति को देखते हुए कुछ मामलों में ढील देते हुए बाकी पाबंदियां बरकरार रहेंगी
चुनाव आयोग ने रैलियों पर लगी रोक हालांकि नहीं हटाई है, लेकिन चुनाव प्रचार पर लगी रोक में कुछ ढिलाई जरूर दी है। आयोग ने कहा है कि चुनाव प्रचार के मद्देनज़र अब 1000 लोगों के साथ सभा की इजाजत होगी। इसके अलावा डोर टू डोर कैंपेन में भी पहले से ज्यादा लोग शामिल हो सकेंगे। बता दें कि कोरोना मामलों में कमी को देखते हुए चुनाव आयोग ने सोमवार को यह फैसला लिया है। चुनाव आयोग ने सोमवार को फैसला लिया है कि अब 500 की जगह 1000 लोगों की सभा की जा सकेगी। इसके अलावा डोर टु डोर कैंपेन अब 10 की जगह 20 लोगों के साथ कर सकते हैं। वहीं इनडोर बैठक में 300 की जगह 500 लोग अथवा हॉल की 50 फीसद क्षमता के बराबर लोग मिल हो सकते हैं। आयोग ने पिछली बैठक में प्रथम और दूसरे चरण के लिए रैली की इजाजत दी थी, लेकिन 500 की संख्या सीमित कर दी थी
टिहरी गढ़वाल से सुनील जुयाल की रिपोर्ट
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